ऑनलाइन गेमिंग पर सरकार का बड़ा कदम: 40% GST प्रस्ताव, सालाना खर्च 1.2 लाख करोड़

सर्च न्यूज़ सच के साथ – नई दिल्ली। केंद्र सरकार ऑनलाइन गेमिंग सेक्टर पर बड़ा कर भार डालने की तैयारी में है। सामाजिक मूल्य और स्वास्थ्य पर नकारात्मक असर का हवाला देते हुए सरकार sin और demerit goods की श्रेणी में गेमिंग को शामिल कर 40% GST लगाने का प्रस्ताव कर रही है।
अभी तक इस श्रेणी में पान मसाला, सिगरेट और लग्जरी कार शामिल थे।पिछले साल अक्टूबर में ऑनलाइन गेमिंग पर 28% GST लागू किया गया था, लेकिन इसके बावजूद इस सेक्टर की लोकप्रियता और मांग पर कोई असर नहीं पड़ा।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के अनुसार, केवल छह महीनों में ही गेमिंग से राजस्व 412% बढ़कर 1,349 करोड़ से 6,909 करोड़ रुपये हो गया।मुख्य आर्थिक सलाहकार वी. अनंत नागेश्वरन ने बताया कि भारतीय यूजर्स हर महीने ऑनलाइन गेमिंग पर औसतन 10,000 करोड़ रुपये खर्च करते हैं।
सालाना यह आंकड़ा लगभग 1.2 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच जाता है।सरकार का कहना है कि लोग गेमिंग पर अत्यधिक समय और पैसा खर्च कर रहे हैं।
ऐसे में कंपनियों को कड़ी KYC प्रक्रियाओं के दायरे में लाने और संदिग्ध लेनदेन पर नजर रखने की योजना भी बनाई जा रही है।हालांकि, 28% टैक्स लागू होने के बाद भी गेमिंग कंपनियों ने कड़ा विरोध जताया था। अब अगर 40% GST लागू होता है तो इससे फैंटेसी स्पोर्ट्स और रियल-मनी गेमिंग प्लेटफॉर्म्स को बड़ा झटका लग सकता है।